देहरादून: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शुक्रवार को सचिवालय में उत्तराखंड राज्य वन्यजीव बोर्ड की 20वीं बैठक की अध्यक्षता की। इस बैठक में मुख्यमंत्री ने मानव-वन्यजीव संघर्ष को कम करने के लिए वन विभाग को और प्रभावी प्रयास करने के निर्देश दिए।
बायो फेंसिंग और गश्त बढ़ाने के निर्देश
मुख्यमंत्री ने जंगलों से लगते सभी स्थानों को अतिशीघ्र बायो फेंसिंग से आच्छादित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि मानव-वन्यजीव संघर्ष के हॉट स्पॉट क्षेत्रों में वन कर्मियों की गश्त बढ़ाई जाए और उन्हें पर्याप्त उपकरण, जैसे कि कैमरा ट्रैप, एनाईडर, ट्रैंक्विलाइज गन आदि दिए जाएं। साथ ही, आधुनिक उपकरण जैसे ड्रोन का उपयोग करके भी जंगली जानवरों पर नजर रखी जाए।
मृतकों के परिजनों और घायलों को सहायता
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि मानव-वन्यजीव संघर्ष में मृतकों के परिजनों और घायलों को यथाशीघ्र अनुमन्य सहायता उपलब्ध करवाई जाए।
हल्द्वानी जू एंड सफारी
मुख्यमंत्री ने हल्द्वानी में प्रस्तावित जू एंड सफारी के मास्टर प्लान पर जल्द डीपीआर (डिटेल्ड प्रोजेक्ट रिपोर्ट) बनाने के निर्देश दिए। उन्होंने राजाजी टाइगर रिजर्व के अंतर्गत चौरासी कुटिया का अंतर्राष्ट्रीय मानकों के अनुसार विकास एवं उच्चीकरण अति शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश भी दिए।
वन्य जीव आधारित पर्यटन को बढ़ावा
मुख्यमंत्री ने राज्य में वन्य जीव आधारित पर्यटन को बढ़ावा देने हेतु विभिन्न नेशनल पार्कों के व्यापक प्रचार-प्रसार के लिए वाइल्डलाइफ आधारित डॉक्यूमेंट्री और फिल्म बनाने के निर्देश दिए। साथ ही, विभिन्न स्थानों पर बर्ड वाचिंग कैंप का आयोजन भी करने को कहा।
जमरानी बांध और अन्य परियोजनाएं
बैठक में जानकारी दी गई कि जमरानी बांध बहुउद्देशीय परियोजना के लिए नेशनल बोर्ड फॉर वाइल्डलाइफ से स्वीकृति मिल चुकी है। पौड़ी गढ़वाल के विकासखंड यमकेश्वर में किमसार-भोगपुर मोटर रोड के लिए भी स्वीकृति प्राप्त हो गई है। 9 सालों से लंबित राजाजी टाइगर रिजर्व हेतु टाइगर कंजरवेशन फाउंडेशन का गठन कर लिया गया है।
वित्तीय सहायता और आधुनिक उपकरण
राज्य में वन्यजीव प्रबंधन के समस्त बिंदुओं को सम्मिलित करते हुए फॉरेस्ट लैंडस्केप रीस्टोरेशन के 10 वर्षीय प्रस्ताव के लिए वित्तीय वर्ष 2024-25 में 32 करोड़ की धनराशि भारत सरकार से स्वीकृत हो गई है। मानव-वन्यजीव संघर्ष की रोकथाम हेतु वित्तीय वर्ष 2023-24 में 10 करोड़ 50 लाख रुपये की धनराशि आवंटित की गई है।
अन्य महत्वपूर्ण निर्देश
मुख्यमंत्री ने विभिन्न वन क्षेत्रों में प्रस्तावित विकास योजनाओं को नियमों के दायरे में रहकर जल्द पूरा करने के निर्देश दिए ताकि आमजन को सहूलियत मिल सके। बैठक में बताया गया कि वर्ष 2009 के पश्चात राज्य में वन विश्राम भवनों की दरों को पुनरीक्षित किया गया है। केन्द्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण, भारत सरकार द्वारा हल्द्वानी जू एंड सफारी के मास्टर प्लान को स्वीकृति प्रदान की गई।
बंदर बंध्याकरण और लैपर्ड प्रोग्राम
प्रदेश में बंदर बंध्याकरण का कार्य मिशन मोड में किया जा रहा है, जिसमें जुलाई 2023 से 31 मार्च 2024 तक 39,398 बंदरों का बंध्याकरण किया चुका है। मानव-वन्यजीव संघर्ष की रोकथाम के लिए 5 वन प्रभागों (गढ़वाल, टिहरी, पिथौरागढ़, बागेश्वर और नरेंद्रनगर) के अंतर्गत “लिविंग विद लैपर्ड” कार्यक्रम चलाया जा रहा है। मानव-वन्यजीव संघर्ष की घटनाओं की त्वरित रोकथाम के लिए 31 वन प्रभागों के अंतर्गत 65 त्वरित प्रतिक्रिया दल का गठन किया गया है।
बैठक में वन मंत्री सुबोध उनियाल, विधायक बंशीधर भगत, दीवान सिंह बिष्ट, सुरेश सिंह चौहान, मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, प्रमुख सचिव आर.के. सुधांशु, प्रमुख वन संरक्षक डॉ. धनंजय मोहन, प्रमुख वन संरक्षक, वन्यजीव डॉ. समीर सिन्हा, विशेष सचिव डॉ. पराग मधुकर धकाते, एडीजी ए.पी. अंशुमन और बोर्ड के सदस्य उपस्थित थे।
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